क्यों बांधते है आम का पत्ता तोरण में-kyon baandhate hai aap ka patta toran mein- आम ही ऐसा वृक्ष है जिस पर पतझड़ पूर्ण रूप से नहीं होती।...
क्यों बांधते है आम का पत्ता तोरण में-kyon baandhate hai aap ka patta toran mein-
आम ही ऐसा वृक्ष है जिस पर पतझड़ पूर्ण रूप से नहीं होती।
••आम्रवृक्ष: एव एवं महीरुहः अस्ति यस्मिन् शिशिरकालस्य आभासः कृत्स्नरूपेण न विद्यते।
जब भी आम के वृक्ष पर पतझड़ होती है तो भी आम का वृक्ष कभी बिना पत्तों के नहीं दिखाई देता।
••यदापि आम्रवृक्षे पर्णपातो भवति तदानीमपि आम्रवृक्ष: पत्ररहित: कदापि न दृश्यते।
आम का वृक्ष घर में निरंतर खुशहाली का प्रतीक है, इसलिए आम के पत्तों को घर के दरवाजे पर "वंदनवार/तोरण" के रूप में लगाया जाता है।
••आम्रवृक्षः गृहे निरन्तरं समृद्धेः प्रतीकमस्ति, अतः आम्रपत्राणि गृहद्वारे "वन्दनवार/तोरण" इति रूपेण सज्जीक्रियन्ते।
आम के पत्ते कटने के बाद भी कम से कम दो दिन ओक्सीजन छोड़ते हैं।
••आम्रपत्राणि छेदनान्तरमपि न्यूनातिन्यूनं दिनद्वयं यावत् प्राणवायुम् उत्सृजन्ति।
यही कारण है कि हवा ताजा रखने के लिए सभी त्यौहारो और कार्यों मे उनका उपयोग किया जाता है, खासकर जब वहाँ बहुत सारे लोग हों।
••इदमेव कारणमस्ति यत् वायुशोधनार्थं सर्वेषु उत्सवेषु कार्येषु च तेषाम् उपयोग: क्रियते,विशेषत: यदा बहवो जना: उपस्थिता: भवेयु:।
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